चौसकु हिमाचल प्रदेश कृषि विश्वविद्यालय के कृषि दूत कुंदन लाल को राष्ट्रीय पुरस्कार

केंद्रीय कृषि मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने नई दिल्ली में किया पुरस्कृत

agricultural university

उज्जवल हिमाचल। पालमपुर

चौसकु हिमाचल प्रदेश कृषि विश्वविद्यालय पालमपुर के कृषिदूत कुंदन लाल को राष्ट्रीय स्तर पर पंडित दीनदयाल अंत्योदय कृषि पुरस्कार प्राप्त हुआ है। 16 जुलाई 2022 को भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद, नई दिल्ली के 94 वे स्थापना दिवस के अवसर पर नई दिल्ली में आयोजित कार्यक्रम में केद्रीय कृषि एवम् किसान कल्याण मंत्री नरेद्र सिंह तोमर ने कुंदन लाल को इस पुरस्कार से नवाजा गया। पुरस्कार में एक लाख रूपए, स्मृति चिन्ह व प्रमाण पत्र प्रदान किया गया है।

विदेश दौरे पर गए प्रो. हरींद्र कुमार चौधरी ने कुंदन लाल से दुरभाष पर बात कर उन्हें इस सम्मान के लिए बधाई व शुभकामनाएं दी। उन्होनें कहा कि यह प्रदेश के सभी किसानों के लिए गौरव की बात है और इस गौरवान्वित सम्मान के लिए सभी बधाई के पात्र है । उन्होंने कहा केन्द्र व प्रदेश सरकार की किसान उपयोगी नीतियों से ही किसानों की स्थिति में निरन्तर परिवर्तन हो रहा है जिसका साक्षात उदाहरण पिछले दो वर्षों में इस छोटे राज्य से संबन्ध रखने वाले दो किसानो को राष्ट्रस्तर पर पुरस्कार मिलना हैं। उन्होंने यह भी कहा कि इस उपलब्धि से मंडी जिला के साथ-साथ हिमाचल प्रदेश का भी नाम ऊंचा हुआ है जो की प्रत्येक प्रदेशवासी के लिए गौरव की बात है।

उन्होंने कृषि विज्ञान केंद्र के वैज्ञानिकों को भी इस उपलब्धि के लिए बधाई दी। कुंदन लाल ने कहा कि कुलपति प्रो. एचके चौधरी के सहयोग व आशीर्वाद से मुझे आईसीएआर ने मेरे कृषि कार्य की सराहना करते हुए पंडित दीनदयाल अंत्योदय वर्ष 2021 प्रथम पुरस्कार द्धारा सम्मानित किया गया है। उनके इस प्रयास का मैं सदैव ऋणी रहूंगा। इस उपलब्धि के अतिरिक्त कृषि विज्ञान केंद्र , सुन्दरनगर में वर्चुअल मोड में आयोजित किए गए इसी कार्यक्रम में केंद्रीय कृषि एवम किसान कल्याण मंत्री नरेंद्र सिंह तोमर ने जिला मंडी के अन्य प्रगतिशील किसान कृषि दूत व पंडित दीन दयाल अंत्योदय कृषि पुरस्कार 2020 के विजेता किसान संजय कुमार से उनके द्वारा खेती में अपनाई गई तकनीकों पर चर्चा की। इस कार्यक्रम में पूरे देश के केवल मात्र चार किसानों का ही चयन हुआ था।

कौन है कुंदन लाल…

विकासखंड गोहर के खनियारी गांव डाकघर काण्ढा तहसील चच्योट जिला मंडी के प्रगतिशील युवा सीमांत किसान 47 वर्षीय कुंदन लाल कृषि में एक सफल उद्यमी बनकर उभरे हैं। वर्ष 1992 में मैट्रिक के उपरान्त तीन से चार वर्ष तक कई संस्थानों में दैनिक वेतन भोगी नौकरी में उचित मानदेय न मिलने पर गांव लौटे और अपनी पांच बीघा भूमि पर कृषि कार्य आरम्भ किया। चौसकु हि.प्र. कृषि विश्वविद्यालय पालमपुर व कृषि विज्ञान केंद्र, सुंदरनगर से कई विषयों में कौशल विकास प्रशिक्षण प्राप्त करके एकीकृत कृषि मॉडल स्थापित किया।

650 वर्गमीटर पोलीहाउस में कारनेशन की खेती, वर्ष भर बटन व ढीगरी मशरूम उत्पादन, सेब उत्पादन, बेमौसमी सब्जी उत्पादन व अन्य अतिरिक्त उद्यम जैसे अजोला, सेरीकल्चर, मौन पालन, पशुपालन, वर्मीकम्पोस्ट आदि उनके मॉडल के प्रमुख घटक हैं। जिससे वह बेहतर आमदनी अर्जित कर रहे हैं। मशरूम की मार्केटिंग में उनके प्रयास भी सराहनीय हैं। वह अपने गांव के आस-पास के गांव में भी लगभग 300 कस्टमर को ताजे मशरूम बेचने के साथ-साथ उन्होंने मनाली व शिमला के होटलों में सम्पर्क बनाते हुए अपना उत्पाद बेचते हैं। बतौर मास्टर ट्रेनर अभी तक प्रदेश व पड़ोसी राज्य पंजाब के लगभग 2000 से अधिक किसानों को मशरूम उत्पादन व्यवसाय पर प्रशिक्षित कर चुके हैं ।