49वां विजय दिवस सादे समारोह में किया गया आयोजित

उमेश भारद्वाज। मंडी

भारत-पाक युद्ध का 49वां विजय दिवस सादे समारोह के रुप में शहर के संकन गार्डन स्थित युद्ध स्मारक में आयोजित किया गया। कार्यक्रम की अध्यक्षता एसडीएम सदर मंडी शहजाद आलम ने की। इस मौके पर पूर्व सैनिकों व वीर नारियों की ओर से दो मिनट का मौन रखकर 1971 भारत-पाक युद्ध में शहादत का जाम पीकर सर्वोच्च बलिदान देने वाले शहीदों को याद कर श्रद्धांजलि अर्पित की गई।

बता दें कि इस युद्ध में देश के 3843 शूरवीरों ने शहादत का जाम पिया था। 9851 सैनिक घायल हुए थे। प्रदेश के 190 सैनिकों ने अपने प्राणों की आहुति दी है। जिसमें मंडी जिला के 21 शूरवीरों ने देश के लिए अपने प्राण न्यौछावर किए थे।

कार्यक्रम में हिमाचल प्रदेश एक्स सर्विसेज लीग मंडी के जिलाध्यक्ष कर्नल प्रताप चौहान ने बताया कि तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी ने अप्रैल 1971 में सेना प्रमुख सैम मानिकशाॅ को पाकिस्तान पर आक्रमण करने के आदेश दिए थे। लेकिन सेना प्रमुख ने कहा कि अभी हमारी तैयारी नहीं है। हम पूरी तैयारी के साथ युद्ध करना चाहते हैं। यह युद्ध 3 दिसंबर से 16 दिसंबर 1971 तक चला था। 14 दिन के इस युद्ध में भारतीय सेना पूर्ण तैयारी व प्लानिंग के साथ उतरी थी। उन्होंने कहा कि भारत की ओर से पूर्वी कमान के चीफ ऑफ स्टाफ मेजर जनरल जेएफआर जैकव की इस युद्ध में बहुत बड़ी भूमिका रही थी।

 

मेजर जनरल जैकव ने पाकिस्तान के लेफ्टिनेंट जनरल एएके नियांजी को हथियार डालने पर मजबूर कर 16 दिसंबर 1971 को पूर्वी पाकिस्तान को आजाद करवाया। जो आज बांग्लादेश के नाम से जाना जाता है। सेना की पूर्वी कमान के आर्मी कमांडर लेफ्टिनेंट जनरल जगजीत सिंह अरोड़ा के सामने पाकिस्तान के लेफ्टिनेंट जनरल एएके नियांजी ने लगभग 93 हजार सैनिकों के साथ आत्मसमर्पण किया था। उसी दिन से हर वर्ष 16 दिसंबर को भारत-पाक युद्ध विजय दिवस के रूप में मनाया जाता है।