सुंदर ट्यूलिप गार्डन बन रहा पर्यटकों के आकर्षण का केंद्र

उद्यमियों व किसानों को आत्मनिर्भर बनाने के लिए यह सशक्त प्रयास

उज्ज्वल हिमाचल। पालमपुर

सी एस आई आर आईएचवीटी पालमपुर द्वारा फ्लोरीकल्चर मिशन के अंतर्गत विकसित किए गए ट्यूलिप गार्डन जनमानस के लिए संस्थान के निदेशक डॉक्टर सुदेश कुमार यादव द्वारा खोल दिया गया। ट्यूलिप एक कदीय कृतित फूल है जिसकी अंतर्राष्ट्रीय व घरेलू बाजार में काफी मांग है दुनिया में कदीय फूलों के व्यापार में यह तीसरे स्थान पर है। मिशन के अंतर्गत इसकी खेती को लोकप्रिय बनाने के लिए संस्थान 2 वर्षों से इन सुंदर फूलों को अपने परिसर में लग रहा है।

इस बार उद्यान में 6 विभिन्न रंगों की प्रजातियों के 50000 बल्ब लगाए गए हैं। इस उद्यान में राज्य के भीतर और बाहर से बड़ी संख्या में आंगतुको के आने का अनुमान है। पिछले बरस देश के विभिन्न क्षेत्रों से 70000 से अधिक पर्यटक इस सुंदर ट्यूलिप गार्डन को देखने के लिए आए थे। इस वर्ष गार्डन खोले जाने के प्रथम दिन ही केंद्रीय विद्यालय भनाला हिमाचल प्रदेश के लगभग 200 विद्यार्थियों व अध्यापकों ने जिज्ञासा प्रोग्राम के अंतर्गत इसका भ्रमण किया सीएसआईआरआईएच बीटी ने यूलिप की वेबसाइट खेती के लिए हिमाचल प्रदेश की लाहौल घाटी में इसके फूल और बल्ब उत्पादन पर प्रायोगिक प्रशिक्षण शुरू किया था।

शुरुआत करने के लिए सहकारी समितियां के कई किसानों को शामिल किया गया। इन में महादेव फ्लोरीकल्चर समिति मादाग्राम, पट्टन बेली फ्लोरीकल्चर सोसाइटी लिमिटेड, साँस और टेनन व्हाइट माउंटेन फ्लोरीकल्चर समिति जंगला को ट्यूलिप की खेती करने के लिए प्रशिक्षित और सशक्त बनाया गया। जो अब बल्ब और फूलों के उत्पादन के लिए खेती कर रहे हैं। फूलों की खेती से जुड़े उद्यमियों और किसानों के लिए आकर्षक आय सृजन एवं देश को आत्मनिर्भर बनाने के लिए यह सशक्त प्रयास है और अगले सात-आठ बरस में देश की वार्षिक घरेलू मांग पूरा करने के लिए संस्थान का ध्येय है।

संवाददाताः गौरव कौंडल

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