साफ पानी की गुणवत्ता में हिमाचल टॉप पर, जल जीवन मिशन कॉन्फ्रेंस में खुलासा

उज्जवल हिमाचल। शिमला

हिमाचल के घरों में सप्लाई हो रहा पेयजल पूरे देश के मुकाबले सबसे शुद्ध है। जलशक्ति मंत्रालय ने घरों में सप्लाई हो रहे पेयजल की गुणपवत्ता का अध्ययन किया है और अब इस अध्ययन की रिपोर्ट में यह खुलासा हुआ है। हिमाचल में सप्लाई हो रहे पेयजल को 98 फीसदी तक शुद्ध माना गया है। जलशक्ति मंत्रालय की इस रिपोर्ट का दिल्ली के गुजरात भवन में यूनिसेफ जलजीवन मिशन की ओर से आयोजित कॉन्फ्रेंस में खुलासा हुआ है। हिमाचल में पेयजल शुद्ध आने के आंकड़ों से जलशक्ति विभाग भी काफी उत्साहित है। हिमाचल में हर घर में पेयजल योजना पर काम चल रहा है और जलशक्ति विभाग ने 2022 तक स्वच्छ पेयजल मुहैया करवाने के प्रयास तेज कर दिए हैं।

इसका लाभ ग्रामीणों को आगामी दिनों में मिलेगा। हिमाचल में इस समय स्वच्छ और संपूर्ण पेयजल दोनों पर काम हो रहा है। 98 फीसदी तक स्वच्छता के साथ इस रिपोर्ट में हिमाचल पहले पायदान पर है, जबकि 95 फीसदी गुणवत्ता के साथ मणिपुर दूसरे और 92 फीसदी गुणवत्ता के साथ उत्तराखंड तीसरे स्थान पर बना हुआ है। जलशक्ति मंत्रालय के आंकड़ों के मुताबिक हिमाचल बजट के मामले में उत्तराखंड के बाद दूसरे स्थान पर काबिज है। इसमें उत्तराखंड को 1344 करोड़ रुपए, जबकि हिमाचल को 1004 करोड़ रुपए का बजट जारी किया जाएगा। अरुणाचल प्रदेश 540 करोड़ रुपए के साथ तीसरे स्थान पर है।

2022 तक हर घर में होगा स्वच्छ पेयजल

हिमाचल में जलजीवन मिशन के तहत हर गांव, हर घर तक पानी के कनेक्शन पहुंचाने की योजना है। जलशक्ति विभाग ने प्रदेश में वर्ष 2022 तक इस लक्ष्य को पूरा करने की बात कही है। इस योजना में पूरे प्रदेश भर में ग्रामीण इलाकों में नलके लगाए जाने हैं। योजना को हर घर में पानी पहुंचाने के तहत जोड़ा गया है।