हिमाचल : कुलदीप राठौर की बैठक में भिड़े कांग्रेसी, हुई हाथापाई

उमेश भारद्वाज। मंडी

  • मंडी जिला के सरकाघाट में एक बार फिर सामने आई कांग्रेस पार्टी की गुटबाजी
  • मंच पर पूर्व मंत्री राव और युक्का कार्यकारी अध्यक्ष यदुपती के समर्थकों में हुई हाथापाई
  • एक दूसरे के पक्ष में जमकर की नारेबाजी, प्रदेशाध्यक्ष के साथ बैठने को लेकर जमकर उलझे कार्यकर्ता
  • कांग्रेस अध्यक्ष ने दी कड़ी नसीहत ख़ुद सम्भाल मंच

 

हिमाचल प्रदेश कांग्रेस चल रही गुटबाजी एक बार फिर सामने आ गई है। प्रदेश कांग्रेस पार्टी के अध्यक्ष कुलदीप राठौर के सामने कांग्रेस कार्यकर्ताओं की अनुशासनहीनता इस कदर सामने आई कि प्रदेशाध्यक्ष के साथ बैठने को लेकर कांग्रेस नेताओं के समर्थक आपस में भिड़ गए। पूर्व मंत्री और युवा कांग्रेस समर्थक कार्यकर्ताओं में हाथापाई और धक्का-मुक्की भी हुई। मामला मंडी जिला के सरकाघाट में सामने आया है। जहां पीसीसी अध्यक्ष कुलदीप राठौर आगामी लोकसभा चुनावों की फीडबैक लेने ब्लॉक कांग्रेस कमेटी सरकाघाट की बैठक की अध्यक्षता कर रहे थे। मौके पर हालात इतने काबू हो गए कि प्रदेशाध्यक्ष द्वारा खुद बीच-बचाव करके मामले को शांत किया गया। कांग्रेस अध्यक्ष ने उन महत्वकांक्षी नेताओं को कड़ी फटकार लगाते हुए अनुशासनिक कार्यवाही करने की भी धमकी दे डाली।

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प्रदेश अध्यक्ष के सामने 3-3 नेताओं के कार्यकर्ताओं द्वारा किए इस शक्ति प्रदर्शन और हंगामे के बाद कांग्रेस की एकजुटता की कलई खोलकर रख दी है l गौरतलब है कि प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष कुलदीप राठौर का बतौर अध्यक्ष पद संभालने के बाद सरकाघाट विधानसभा क्षेत्र का पहला दौरा था। इस दौरे को लेकर कामयाब बनाने के लिए मंडल कांग्रेस ने खासी तैयारी कर रखी थी। लेकिन जैसे ही प्रदेशाध्यक्ष बैठक हॉल में पहुंचे और मंच पर बैठने लगे इसी दौरान पूर्व कबीना मंत्री रंगीला राम राव के साथ सरकाघाट से कांग्रेस की पूर्व प्रत्याशी पवन ठाकुर एवं युंका कार्यवाहक अध्यक्ष यदुपति ठाकुर मंच पर बैठ गए। इसी बीच यदुपति ठाकुर के समर्थकों ने यदुपति के समर्थन में नारेबाजी शुरू कर दी जिससे माहौल गर्म हो गया।

यहां तक कि यदुपति के समर्थकों ने पूर्व ब्लाक अध्यक्ष योगराज ठाकुर से माइक छीन लिया और मंडी ज़िला कांग्रेस के उपाध्यक्ष अनिल शर्मा और युक्का अध्यक्ष अखिल गुप्ता से यदुपति समर्थकों ने हाथापाई हुई। इसी को लेकर कार्यकर्ता आपस में भिड़ गए। तभी प्रदेश कांग्रेस अध्यक्ष ने खुद माइक संभाल कर दोनों पक्षों को नारेबाजी बंद करने का आदेश दिया और उनके मंच सम्भालने बाद माहौल शांत हो पाया। इसके बाद मंच पर किसी को भी बोलने की अनुमति प्रदान नहीं की गई।

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प्रदेशाध्यक्ष कुलदीप राठौर ने इस प्रकरण पर खासा नाराजगी जाहिर करते हुए कहा कि महत्वकांशी होना अच्छी बात है। लेकिन अति महत्वकांक्षी होना पतन का कारण होता है। उन्होंने कहा कि सरकाघाट में कांग्रेस 15 साल से पिछड़ रही है और कांग्रेसी कार्यकर्ता महत्वकांशी नेताओं की बलि चढ़ रहें है। अगर ऐसे ही लड़ते रहे रहा तो 30 साल तक बाहर रहेंगे। इसके लिए कार्यकर्ता नहीं बल्कि नेता जिम्मेदार होंगे। जब तक टुकड़ों में रहेंगे तब तक हारते ही रहोगे और सत्ता में नकारा लोगों की लौटरी लगती रहेगी। उन्होंने कहा कि अगर कांग्रेस को सत्ता में लाना है तो सभी को एक साथ चलना होगा। प्रदेश अध्यक्ष ने यह भी कहा की वे यहां किसी भी पार्टी नेता की ताकत देखने नहीं आये हैं अपितु सभी कार्यकर्ताओं और पदाधकारियों को एक सूत्र में बांधकर मंडी संसदीय क्षेत्र में होने वाले उपचुनाव के लिए पार्टी कार्यकर्ताओं को तैयार करने आये हैं। पार्टी अध्यक्ष ने अपने संबोधन में कहा कि कांग्रेसी कार्यकर्ताओं की आपसी लड़ाई के कारण ही गत 15 वर्षों से सरकाघाट विधानसभा क्षेत्र में भाजपा का उम्मीदवार जीत रहा है। लेकिन इतना होने पर भी पार्टी के कार्यकर्ताओं को समझ नहीं आ रहा है।

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इस अवसर पर मंडी संसदीय क्षेत्र के पूर्व प्रत्याशी रहे आश्रय शर्मा, चेतराम प्रदेश कांग्रेस के सचिव,प्रदेश कांग्रेस सचिव चंद्रशेखर,प्रदेश कांग्रेस प्रवक्ता जेके आजाद पूर्व जिनला कांग्रेस अध्यक्ष शशि शर्मा मंडल कांग्रेस अध्यक्ष सचिन वर्मा,युंका के कार्यवाहक अध्यक्ष यदुपति ठाकुर, प्रदेश कांग्रेस सचिव पवन ठाकुर पूर्व पार्टी प्रत्याशी, मंडी जिला कांग्रेस उपाध्यक्ष अनिल शर्मा ब्लॉक युंका अध्यक्ष अखिल गुप्ता पूर्व नगर परिषद अध्यक्ष अश्वनी गुलेरिया और बलवंत ठाकुर सहित पार्टी के फ्रंटल संगठनों के पदाधिकारियों सहित अन्य सभी कार्यकर्ता उपस्थित रहे।