त्याेहारी सीजन में पहुंचने लगी मिलावटी मिठाइयों की खेप

दौलत चौहान। जवाली

जैसे-जैसे करवाचौथ व दिवाली पर्व नजदीक आ रहा है। जवाली में पंजाब सहित अन्य राज्यों से मिलावटी मिठाइयों की खेप पहुंचनी शुरू हो गई है जवाली के बाजारों में दुकानदारों द्वारा मिलावटी मिठाई को देसी मिठाई बताकर खूब चांदी कूटी जा रही है। जिसको दुकानदार मनमाने रेटों पर ग्राहकों को बेचकर उनके स्वास्थ्य से खिलवाड़ कर रहे हैं, लेकिन प्रशासन मूक दर्शक बना हुआ है। मिठाई के साथ पनीर भी सिंथेटिक मिल रहा है, जिसको भी महंगे दामों में देसी का हवाला देकर बेचा जा रहा है।

वहीं, दुकानदार मिठाई को डिब्बों सहित तोल कर दे रहे हैं, जबकि दुकानदार डिब्बों सहित मिठाई को तोल नहीं सकते। अधिकतर मिठाई की दुकानों पर तो रेत लिस्ट ही नहीं लगाई गई है। फ्रूट की दुकानों पर भी दुकानदार सब्जियों सहित फलों को मनमाने रेट लगाकर बेच रहे हैं। सरेआम ग्राहकों के स्वास्थ्य से खिलवाड़ हो रहा है, जबकि प्रशासन व स्वास्थ्य विभाग कुंभकर्णी नींद सोया हुआ है।

जवाली के अधीन लब, जवाली, कैहरियां, भरमाड, घाड़जरोट व नगरोटा सूरियां में गत वर्ष विभाग द्वारा निरीक्षण के दौरान काफी ज्यादा मात्रा में मिलावटी मिठाई को नष्ट किया गया था, लेकिन इस बार अभी तक निरीक्षण न होने से दुकानदारों के हौंसले बुलंद हैं। हर दुकान पर मिठाइयों के अलग-अलग दाम हैं। कोई भी दुकानदार किसी भी प्रकार के नियम को नहीं मान रहा है। सरेआम ग्राहकों की जेबों पर डाला पड़ रहा है।

क्या कहते हैं जिलाधीश कांगड़ा राकेश प्रजापति
इस बारे में जिलाधीश कांगड़ा राकेश प्रजापति ने कहा कि समस्त जिला में एसडीएम को निर्देश जारी कर दिए गए हैं कि मिठाई सहित फ्रूट की दुकानों का निरीक्षण किया जाए। उन्होंने कहा कि दुकानदार मिठाई को डिब्बों सहित न तोलें तथा हर दुकानदार रेट लिस्ट दुकान के बाहर लगाए। उन्होंने कहा कि जल्द ही मिठाई सहित फ्रूट की दुकानों का निरीक्षण किया जाएगा।