पंचायत न हाेने से लाेग परेशान, अलग पंचायत कि उठाई मांग

अजीत वर्मा। जयसिंहपुर

लंबागांव विकास खंड में कोई भी नै पंचायत न बनने से लोगों में रोष व्याप्त है। खंड लंबागांव के तहत कई ऐसी पंचायतें है, जो या तो सीमा पर स्थित हैं या फिर उनकी आवादी ज्यादा है। इन्ही में से यह नडली रंगड़ू के बाशिंदों ने जिन्हें पंचायत कार्य के लिए 6 से 7 किलोमीटर जाना पड़ता है। पशु पालन व पतर डूना के कार्य करने वाले यह ग्रामीण विशेषकर महिलाएं व बजुर्ग किसी कार्य के लिए या ग्राम सभा मे पंचायत घर नही पहुंच पाते। खंड पंचरुख़ी के तहत टटैहल पंचायत के यह गांव भगौलिक परिस्थियों व जंगली रास्तों के चलते लगभग 10 किलोमीटर पंचायत घर नहीं पहुंच पाते।

इसके साथ ही घरचिंडी गांव है, जिसकी पंचायत द्रमन है, जो घरचिंडी गांव से 16 दूर है, जिन्हें पंचायत में छोटा-सा काम करवाने के लिए भी जंगल के रास्ते से जाना पड़ता था व घरचिंडी गांव से विकास खंड लंबागांव की दूरी 30 किलोमीटर हैं। दोनों गांवों ने अपनी-अपनी सभी औपचारिकताएं पूरी करते हुए अलग पंचायत की मांग की थी। जयसिंहपुर विधानसभा क्षेत्र के विधायक रविंद्र रवि धीमान व उपायुक्त कांगड़ा स्थित धर्मशाला इन गांवों में आए थे और भौगोलिक स्थिति को देखकर उन्होंने भी वायदा किया था।

यहां पर नड़ली की नई पंचायत का गठन होना ही चाहिए, लेकिन असमर्थता ही हाथ लगी, लेकिन सरकार ने इसे नकार दिया। जिससे लोगों में रोष व्याप्त है। ससार चंद, कमलेश कुमार, लेख राज, मिलाप चंद, अनीता देवी, सुनीता देवी, मीना देवी, सरोज देवी, सुमन अजय कुमार, जोबन रम, ओम प्रकाश, गुरु भगत, कपूरा रम, अबिशेक कुमार, अंकु, सुरिंदर कुमार, माधो राम, प्यार चंद, मदन लाल, अशोक, करण सिंह, कमला देवी, पार्वती देवी, चंचेला देवी, रानी देवी आदि ने सरकार से मांग की है हमारी भी अलग से पंचायत बना दी जाए।