हिमाचल के स्वयं सहायता समूहों को मिला बाजार, कांगड़ा ऐप से ऑनलाइन बेचेंगे उत्पाद

उज्जवल हिमाचल। कांगड़ा

मुख्यमंत्री जयराम ठाकुर ने गुरुवार को धर्मशाला से अपना कांगड़ा ऐप और अपना कांगड़ा हैंपर (स्वयं सहायता समूहों द्वारा तैयार उत्पाद) का शुभारंभ किया। इस अवसर पर उन्होंने कहा कि कांगड़ा हैम्पर में कांगड़ा जिले के विभिन्न स्वयं सहायता समूहों के उत्पादों का संग्रह होगा, जबकि अपना कांगड़ा ऐप के माध्यम से पर्यटकों को कांगड़ा जिले के विभिन्न पर्यटन स्थलों का पता लगाने में सहायता मिलेगी और उनके लिए यह एक अनूठा अनुभव होगा।

मुख्यमंत्री ने धर्मशाला से कांगड़ा जिले के ज्वालामुखी विधानसभा क्षेत्र के लुथान में राधाकृष्ण गौ अभ्यारण्य का भी वर्चुअल माध्यम से उद्घाटन किया। धर्मशाला के लोगों को वर्चुअल माध्यम से संबोधित करते हुए जयराम ठाकुर ने कहा कि राज्य सरकार का पहला निर्णय 70 वर्ष से अधिक आयु के सभी वरिष्ठ नागरिकों को वृद्धावस्था पेंशन प्रदान करने पर लक्षित था, जबकि दूसरा निर्णय बेसहारा पशुओं के लिए राज्य में विभिन्न स्थानों पर गौ अभ्यारण्यों और गौ सदनों के निर्माण का था। प्रदेश सरकार ने शराब की बोतल पर एक रुपये का उपकर लगाने का भी फैसला किया है और इस धनराशि का उपयोग गौ अभ्यारण्यों एवं गौ सदनों के प्रभावी प्रबंधन एवं संचालन पर किया जा रहा है।

जयराम ठाकुर ने कहा कि उन्होंने हाल ही में शिमला जिले के सुन्नी में 500 गायों को रखने की क्षमता वाला एक गौ अभ्यारण्य समर्पित किया लुथान में गौ अभ्यारण्य में एक हजार गायों को रखने की क्षमता होगी। उन्होंने कहा कि राज्य सरकार गौ सदनों को प्रति गाय 500 रुपये प्रति माह प्रदान कर रही है, ताकि उनके लिए चारे की उचित व्यवस्था की जा सके। उन्होंने राज्य के लोगों से यह सुनिश्चित करने का भी आग्रह किया कि मवेशियों को बेसहारा नही छोड़ें और यदि कोई मवेशियों को सड़क पर घूमते हुए देखता है, तो उसे गौ अभ्यारण्यों और गौ सदनों में भेजा जाना चाहिए।

मुख्यमंत्री ने कहा कि इस गौ अभ्यारण्य की स्थापना 3।96 करोड़ रुपये की लागत से की गई है। उन्होंने कहा कि राज्य के विभिन्न गौ अभ्यारण्यों में करीब 19 हजार मवेशी हैं।

उपायुक्त कांगड़ा डॉ. निपुण जिंदल ने अपना कांगड़ा ऐप पर प्रस्तुति दी। उन्होंने कहा कि जिले में तीन कांगड़ा हाट बन रहे हैं। अपना कांगड़ा का उद्देश्य ग्रामीण महिलाओं को सशक्त बनाना और पर्यटन क्षेत्र के माध्यम से युवाओं को रोजगार के अवसर प्रदान करना है। उन्होंने कहा कि यह ऐप होटल, होम-स्टे, परिवहन, पेट्रोल पंप, आपातकालीन सेवाओं जैसी सेवाएं भी प्रदान करेगा। उन्होंने कहा कि अपना कांगड़ा ऐप जहां पर्यटकों को एक अनूठा अनुभव प्रदान करेगी, वहीं ग्रामीण आबादी को सशक्त भी बनाएगी। यह कांगड़ा जिले के स्वयं सहायता समूहों के उत्पादों को बेचने के लिए ई-मार्केटिंग प्लेटफार्म प्रदान करेगी।