3 खेमे में बंटी कांग्रेस, जी-23 ग्रुप की सक्रियता ज्यादा बढ़ी, आखिर किसके पास होगी पार्टी की कमान

उज्जवल हिमाचल । डेस्क

देश की सबसे पुरानी राजनीतिक पार्टी कांग्रेस का अगला अध्यक्ष कौन होगा, इसका सभी को इंतजार है। क्योंकि कांग्रेस में आंतरिक चुनाव फिर टल चुका है. एक ओर जहां पार्टी के अधिकांश नेता राहुल गांधी फिर से कांग्रेस की कमान सौंपने की वकालत करते नजर आ रहे हैं, तो वहीं एक धड़ा ऐसा भी है, जिसकी सहमति इस पर नहीं है और वो इससे अलग मत रखता है. इन चीजों के इतर सोनिया गांधी, जो कभी राहुल गांधी को अपने उत्तराधिकारी के रूप में स्थापित करने के लिए उत्सुक नजर आ रहीं थीं, उन्हें मजबूरन अपने हाथों में फिर से पार्टी की कमान लेने की जरूरत पड़ गई। यहां चर्चा कर दें कि सोनिया गांधी का स्वास्थ ऐसे भी उनका साथ नहीं दे रहा है. कुल मिलाकर देखा जाए तो पार्टी के अध्यक्ष पद के लिए कांग्रेस तीन अलग-अलग खेमों में नजर आने लगी हैं। पहला सोनिया गांधी के पक्ष में नजर आ रहा है तो वहीं दूसरा राहुल गांधी के पक्ष में अपने विचार रखता है. वहीं तीसरा इन दोनों से अलग विचारधारा का नजर आता है जो स्वतंत्र खेमा है. ऐसे खेमे को G-23 ग्रुप की संज्ञा दी गई है.

चुनाव एक बार फिर टल गया
कांग्रेस अध्यक्ष पद का चुनाव एक बार फिर टल गया है. कांग्रेस कार्य समिति (सीडब्ल्यूसी) ने कोरोना की दूसरी लहर की वजह से यह फैसला लिया है. पार्टी के केंद्रीय चुनाव प्राधिकरण (सीइसी) ने 23 जून को कांग्रेस अध्यक्ष पद का चुनाव कराने का प्रस्ताव दिया था, लेकिन राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने कोरोना संक्रमण की भयावह स्थिति का हवाला देते हुए कहा कि ऐसे हालात में फिलहाल चुनाव कराना ठीक नहीं होगा. पार्टी के वरिष्ठ नेता गुलाम नबी आजाद, आनंद शर्मा ने भी गहलोत का समर्थन किया. फिलहाल, सोनिया गांधी ही पार्टी के अंतरिम अध्यक्ष की जिम्मेदारी संभालती रहेंगी.