मंदिर की गुफा में रोट प्रसाद चढ़ाने की अनुमति नहीं

बाबाजी की गुफा के पास बने हाल में बैठने पर पाबंदी

एसके शर्मा। हमीरपुर

उत्तरी भारत के प्रसिद्ध सिद्धपीठ बाबा बालक नाथ मंदिर दियोटसिद्ध में भी श्रद्धालु एसओपी का पालन करते हुए बाबाजी के दर्शन कर रहे हैं। दियोटसिद्ध मंदिर में गुफा के दर्शन करने के लिए श्रद्धालु आ रहे हैं, लेकिन उन्हें बाबा जी की गुफा के पास ज्यादा देर तक ठहरने की अनुमति भी नहीं है। श्रद्धालु गुफा के पास आए और दर्शन करके चल दिए। यहीं व्यवस्था मंदिर न्यास प्रशासन द्वारा बनाई गई है। मंदिर में बाबाजी की गुफा के पास श्रद्धालुओं को रोट प्रसाद चढ़ाने की अनुमति नहीं है।

वहीं, गुफा में दर्शन करने के बाद बेसमैंट में श्रद्धालुओं के बैठने के लिए फिलहाल किसी को भी बैठने की इजाजत नहीं है। मंदिर परिसर में जो हाल बना है, वहां पर श्रद्धालु बाबाजी के दर्शन करने के बाद भजन-कीर्तन करते थे और आराम भी कर लेते थे, लेकिन अब वहां पर बैरीकेटिंग कर दी गई है।

बताते चलें कि बाबा बालक नाथ मंदिर दियोटसिद्ध में पांच फरवरी से दर्शनों के लिए बाबाजी की गुफा व धुनें को खोल दिया है। दियोटसिद्ध मंदिर में दर्शनों का समय सुबह पांच बजे से शाम नौ बजे तक कर दिया है। दियोटसिद्ध मंदिर में विशेषकर शनिवार व रविवार को श्रद्धालुओं की ज्यादातर भीड़ रहती है। इसके लिए मंदिर न्यास प्रशासन ने श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए हर प्रकार की व्यवस्था की है। वहीं, दियोटसिद्ध मंदिर न्यास प्रशासन श्रद्धालुओं के लिए आठ फरवरी सोमवार से कैंटीन खोलने जा रहा है। इस कैंटीन में श्रद्धालुओं को देशी घी से बना रोट 15 रूपए में मिलेगा व डालडा घी वाला रोट 10 रूपए में मिलेगा।

बैरियर नंबर एक में पार्किंग की व्यवस्था
दियोटसिद्ध मंदिर न्यास प्रशासन द्वारा श्रद्धालुओं के वाहनों को मंदिर के गेट तक ले जाने के लिए व्यवस्था बनाई है। मंदिर न्यास प्रशासन से अनुमति लेने के बाद ही वाहन मंदिर के गेट तक पहुचं पाएंगे। बिना अनुमति के श्रद्धालु अपने वाहन मंदिर के गेट तक नहीं ले जा सकेंगे। वाहनों की पार्किंग बैरियर नंबर एक के पास बनाई गई है। वहां पर श्रद्धालु अपने वाहन पार्क कर सकते हैं। इसके सराएं नंबर 9 के पास भी छोटे वाहन पार्क किए जा सकते हैं। मंदिर में दूर-दराज से आने वाले श्रद्धालु मंदिर की बनी सरायों में ठहरते हैं। इसके लिए सराए नंबर 9 को श्रद्धालुओं को खोल दिया है। श्रद्धालु मंदिर की सरायों में ठहरने के लिए ऑनलाइन बुकिंग करवा सकते हैं। वहीं, मंदिर न्यास प्रशासन ने बृद्वों व विकलांगों के लिए नि:शुल्क वाहन उपलब्ध करवाया है। इससे वे आसानी से मंदिर के गेट तक जा सकते हैं व बाबाजी के दर्शन कर सकते हैं।

उधर, मंदिर अधिकारी कृष्ण ठाकुर ने मंदिर में आने वाले श्रद्धालु एसओपी का पालन करते हुए बाबाजी के दर्शन कर रहे हैं। उन्होंने कहा कि गुफा में रोट प्रसाद चढ़ाने की अनुमति नहीं है व परिसर के हाल बैठने पर पाबंदी रहेगी। उन्होंने कहा कि श्रद्धालुओं की सुविधा के लिए आठ फरवरी से न्यास की कैंटीन को खोला जा रहा है। कैंटीन में बाजार से काफी सस्ता प्रसाद व रोट श्रद्धालुओं को मिलेगा। मंदिर में आने वाले श्रद्धालुओं को लंगर की व्यवस्था की गई है। श्रद्धालुओं के रहने के लिए न्यास की सरायों को खोल दिया गया है।