वित्त वर्ष 2020-21 की याेजनाएं बनी सफेद हाथी

चमेल सिंह देसाईक। शिलाई

प्रदेश में आगामी पंचायतीराज चुनाव को लेकर उम्मीदवारों की रोस्टर लिस्ट जारी हो गई है। अगले 5 दिनों के अंदर आचार संहिता लगने की सूचनाएं हैं, लेकिन विकास खंड शिलाई की विभिन्न पंचायतों में दर्जनों विकास कार्य अधर में लटके पड़े हैं, वित्त वर्ष 2020-21 की स्कीमें पिछले 6 महीनों से समय पर मजदूर, मिस्त्री की मजदूरी व मेटीरियल पेमेंट न मिलने से जनता के लिए सफेद हाथी बनी हुई है। इसलिए क्षेत्र में प्रशानिक अमला के प्रति रोष व्याप्त है। जानकारी के अनुसार अप्रैल माह में स्वीकृत हुई स्कीमें अभी तक पूर्ण नही हो पाई है।

खंड की 29 पंचायतो में विकास कार्यों पर खर्च होने वाले लगभग 3 करोड़ रुपए विकास खंड की तरफ से जारी नही किए गए हैं। इनमें 2 लाख से अधिक मजदूरों की मजदूरी लटकी पड़ी है, तो 2.50 लाख के करीब मिस्त्रियों की मजदूरी लटकी हुई है। इसके अतिरिक्त लगभग 3 करोड़ रुपए मेटीरियल पेमेंट के खड़े है, जिनकी वजह से स्कीमें अधर में लटकी पड़ी है। इतना ही नहीं, बल्कि कई स्कीमें तो ऐसी हैं, जो 3 से पांच बार रिपेयर हो गई हैं, लेकिन स्किम पूर्ण होने की अंतिम अदायगी पिछले 15 वर्षाें से नही हो पाई है। इस बीच कई अधिकारी आए और चले गए, सभी अधिकारियों ने “आगे दौड़ पीछे छोड़” वाली नीति पर कार्य किया।

इसलिए दर्जनों स्किमों की अंतिम अदायगी नहीं हो पाई है। क्षेत्रीय लोगों मे सुरेंद्र सिंह, कल्याण सिंह, तपेंद्र सिंह, अर्जुन सिंह, मोहन सिंह, इंदर सिंह, संत राम, दलीप सिंह व मदन सिंह बताते हैं कि विकास खंड शिलाई में भरपूर भ्रष्टाचार है। खंड कार्यालय के अंदर बैठे कर्मचारी उन्ही स्कीमों के मजदूरों व मिस्त्रियों के साथ मेटीरियल की पेमेंट पंचायत को भेजते हैं, जिस स्किम की कमीशन समय पर इनको दी जाती है। पिछली बार जब मेटीरियल पेमेंट वेंडरों को दी गई, तो उसमे यह सुनिशित किया गया कि कमीशन आई है या नहीं आई है, जिस स्किम की कमीशन नहीं मिली, उसकी मेटीरियल पेमेंट के साथ मिस्त्रियों की मजदूरी रोक दी गई है तथा तकनीकी सहायक व कनिष्ट अभियंताओं ने मजदूरों के मस्टररोल शून्य कर दिए हैं। यही क्रम लगातार चल रहा है।

इसलिए मौका पर कार्य नहीं हो रहे हैं, समय पर न मजदूरी मिल रही है न ही मेटीरियल उपलब्ध हो रहा है। इस वर्ष की स्कीमें पिछले 6 महीने से अधर में लटकी पड़ी हैं। अधूरे कार्य कई जगह से टूट गए हैं, विभाग की लापरवाह व भ्रष्ट कार्य प्रणाली ने क्षेत्र का भट्टा गोल कर दिया है। इसलिए उच्च अधिकारियों से अपील की जाती है कि समय पर अधर में लटकी स्किमों में सभी तरह की पेमेंट जारी करवाएं, ताकि नई पंचायत बनने से पहले अधर में लटके कार्य पूर्ण हो सकें।

विकास खंड अधिकारी विनीत ठाकुर ने बताया कि विकास खंड के अंदर अधूरी स्कीमों पर हर तरह की पेमेंट जल्द रिलीज की जा रही है। पुरानी स्कीम पूर्ण होने से पहले नई स्कीमें जारी नहीं की जाएगी, वह अपने स्टाप के साथ बैठक कर रहे हैं। पुरानी सभी स्किमों की अंतिम अदायगी देने की रणनीति पर कार्य किया जाएगा। शिमला से मेटीरियल पेमेंट आ गई है। जल्द पंचायतों को पेंडिग मेटीरियल पेमेंट जारी की जाएगी।