जनजातीय भवन जसूर के स्थानान्तरण होने पर अवैध रूप से हो रहे निर्माण कार्य को रोकने हेतु मुख्यमंत्री को सौंपा आवेदन पत्र

Application letter submitted to the Chief Minister to stop the illegal construction work after the transfer of Tribal Bhavan Jasur
जनजातीय भवन जसूर के स्थानान्तरण होने पर अवैध रूप से हो रहे निर्माण कार्य को रोकने हेतु मुख्यमंत्री को सौंपा आवेदन पत्र

उज्जवल हिमाचल। नूरपुर  
जनजातीय विभाग कांगेस कमेटी के एक प्रतिनिधी मन्डल ने अजय महाजन की अध्यक्षता में मुख्यमंत्री को भाजपा शासन में जनजातीय भवन जसूर, नूरपुर के तृतीय बार के स्थानान्तरण होने पर अवैध रूप से हो रहे निर्माण कार्य को रोकने हेतु आवेदन पत्र सौंपा।

मदन भरमौरी महासचिव जनजातीय विभाग कांग्रेस कमेटी एवं पूर्व सदस्य गद्दी कल्याण बोर्ड ने जनजातीय भवन नूरपुर, क़स्बा जसूर और जनजातीय समुदाय के साथ हो रहे अन्याय को लेकर मुख्यमंत्री सुखविदंर सिंह सक्खू से खुलकर बात की।

गत वर्ष गद्दी कल्याण बोर्ड की 14वीं बैठक में मद संख्या 120 नूरपुर में जनजातीय भवन के लिए स्वीकृति मिली थी और 2.5 करोड़ रूपये की एक मुक्त राशि पूर्व मुख्यमंत्री स्वर्गीय वीरभद्र सिंह के द्वारा मंजूर की गई थी। जिसमें की पिछली कांग्रेस सरकार द्वारा 1.5 करोड़ रूपये की पहली किश्त सितंबर 2017 को लोक निर्माण विभाग को समर्पित की गई थी।
ठीक तीन दिन पश्चात् सितंबर 2017 को जनजातीय भवन जसूर का शिलान्यास तात्कालिक प्रदेश सरकार के वनमंत्री ठाकुर सिंह भरमौरी द्वारा किया गया था परन्तु सरकार परिवर्तन के पश्चात् जुलाई 2019 को प्रस्तावित जनजातीय भवन की निविदा टेंडर प्रक्रिया चयनित ठेकेदार को समर्पित की गई।

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निविदा टेंडर प्रक्रिया पूर्ण होने के पश्चात् तात्कालिक सरकार द्वारा प्रशासन को जनजातीय भवन के निर्माण का आदेश दिया गया परन्तु ठेकेदार के द्वारा लोक निर्माण विभाग को निर्माण कार्य आरम्भ करवाने के सम्बन्ध में 9 बार लिखित रूप में आवेदन करना पड़ा था।

मुख्यमंत्री स्वर्गीय वीरभद्र सिंह द्वारा अनुमोदित क़स्बा जसूर में जनजातीय भवन के निर्माण कार्य का मामला अभी भी लंबित पड़ा है। पिछली सरकार के कार्यकाल में षडयंत्र करके उपर्युक्त जनजातीय भवन को नूरपुर क्षेत्र में ही अन्यत्र स्थान भुगनाडा रोड़ पर निर्जन स्थान में स्थानांतरित कर दिया गया जो कि किसी भी दृष्टि से योग्य स्थान नहीं था।
इसी के साथ-साथ पुनः षड़यंत्र कर अब तीसरी बार भी जनजातीय भवन को गेई लगोड़ नामक स्थान पर स्थानांतरित कर दिया गया है। प्रदेश का एक पिछड़ा आदिवासी वर्ग आप से यही मांग करता है कि इस पर कार्यवाही की जाये।

मुख्यमंत्री ने आश्वासन दिया है कि जिस जगह के लिए पैसा मंजूर हुआ है, वहां पर ही जनजातीय भवन बनेगा और दोषी पाए जाने वाले अधिकारियों पर भी कार्रवाई की जाएगी। इस मौके पर सुरजीत भरमौरी, जगदीश चौहान, महासचिव जनजाति विभाग अर्जुन शर्मा, अध्यक्ष जनजाति विभाग ब्लॉक कांग्रेस कमेटी नूरपुर भी मौजूद थे।

संवाददाताः विनय महाजन

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