इस बार राजधानी में नए रिकॉर्ड बना रही ठंड

उज्जवल हिमाचल। नई दिल्ली

गर्मी और बारिश के बाद देश की राजधानी दिल्ली में ठंड भी इस साल नित नए रिकॉर्ड बना रही है। अक्तूबर की ठंड ने 58 वर्षाें का रिकॉर्ड तोड़ा, तो अब नवंबर में आए दिन पिछले दशकों का रिकॉर्ड टूट रहा है। इस बार नवंबर महीने में न्यूनतम पारे का रिकॉर्ड लगातार टूट रहा है। मौसम विज्ञानियों की मानें तो इस वर्ष नवंबर में इतनी अधिक ठंड पड़ने की कई वजहें हैं, जिनमें दो प्रमुख हैं।

वहीं, स्काईमेट वेदर के मुख्य मौसम विज्ञानी महेश पलावत ने बताया कि न्यूनतम तापमान इतना कम जाने और ठंड बढ़ने की मुख्य रूप से दो वजह हैं। पहली यह कि इन दिनों आसमान साफ चल रहा है। बादल बिल्कुल नहीं हैं। इस तरह के मौसम में सर्दी तेजी से बढ़ती है। दूसरी वजह यह कि हवा इस समय शांत यानी गतिहीन है। इससे सुबह धुंध भी बढ़ रही है।

मौसम विज्ञानी महेश पलावत का कहना है कि आने वाले दिनों में यानी जल्द ही कुहासा पड़ने की भी संभावना है। इसके अलावा पहाड़ों पर हो रही बर्फबारी की ठंडक भी हवा के साथ दिल्ली तक पहुंच रही है। उन्होंने बताया कि शनिवार को भी कमोबेश ऐसा ही मौसम बना रहेगा। अधिकतम व न्यूनतम तापमान क्रमश: 24 और 8 डिग्री रहने की संभावना है।

इस महीने के 20 दिनों में ही ऐसी कई सुबह दर्ज हो चुकी हैं, जो 2010 के बाद से सबसे ठंडी रहीं। इसी कड़ी में शुक्रवार को नवंबर में न्यूनतम तापमान ने 14 वर्ष का रिकॉर्ड तोड़ दिया। सुबह ही नहीं, दिन में भी लोग खासी ठंडक का एहसास करते रहे। मौसम विभाग के मुताबिक शुक्रवार को दिल्ली का न्यूनतम तापमान सामान्य से पांच डिग्री कम 7.5 डिग्री सेल्सियस रहा। 2007 से लेकर अभी तक नवंबर का यह सबसे कम न्यूनतम तापमान है।

इस माह में इतना कम न्यूनतम तापमान अमूमन नहीं जाता। इससे पूर्व वर्ष 2006 में 29 नवंबर के दिन न्यूनतम तापमान 7.3 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया था। इस बार सर्दी का आलम यह हो गया है कि पहले जो ठंड दिसंबर में पड़ा करती थी, इस साल दिल्ली वाले नवंबर में ही महसूस कर रहे हैं।