डॉक्टरों की पेन डाउन स्ट्राइक से अस्पताल के बाहर मरीजों की लगी लम्बी-लम्बी कतारें

विनय महाजन। नुरपुर

नुरपुर के सिविल नागरिक अस्पताल में डॉक्टरों ने आज वीरवार को दो घंटे के लिए पेन डाउन स्ट्राइक करके अपना रोष हिमाचल प्रदेश सरकार के खिलाफ जताया। यह जानकारी नुरपुर के सिविल अस्पताल के मेडिकल अधीक्षक व प्रशासनिक अधिकारी सुशील शर्मा ने देते हुए कहा कि सिविल अस्पताल में डॉक्टरों ने पेन डाउन स्ट्राइक आज की। आज सुबह 9ः00 बजे से 11ः30 बजे तक यह स्ट्राइक चली। लेकिन इस अवधि में इमरजेंसी मरीजों को फिलहाल देखा गया। शर्मा ने कहा कि वह स्वयं हिमाचल प्रदेश डाक्टर्स यूनियन के प्रैस सचिव भी हैं। उन्होंने कहा कि अभी फिलहाल यूनियन के निर्देश पर यह हड़ताल रोजाना दो घंटे चलेगी।

अगर सरकार ने मागों पर गौर नहीं किया फिर अनिश्चित कालीन हड़ताल का विगुल भी वज सकता है। जिससे प्रदेश में स्वास्थ्य सेवाएं चरमराने की जिम्मेदारी सरकार की होगी। हड़ताल पर बैठे डॉक्टरों ने बताया कि हमने करोना काल में भी हमने अपनी सेवाएं दी है। लेकिन सरकार ने बस डॉक्टरों की पीठ ही थपथपाई है। देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने भी इस दौरान चिकित्सकों के काम की प्रशंसा की लेकिन प्रदेश सरकार ने कोई मागो पर गौर नहीं किया। शर्मा ने कहा कि पे कमीशन की मांग को लेकर आज तक कोई निर्णय नहीं लिया गया।

इसलिए यह स्ट्राइक आज से अगले 7 दिन तक चलेगी। शर्मा ने कहा कि सरकार अभी तक हिमाचल प्रदेश में डॉक्टरों को पजाब के आधार पर वेतन नहीं दे सकी तथा एनपीऐ में काफी विसंगतियां है उनका निवारण नहीं कर सकी। सरकार ने एनपीए को 25 से घटा कर 20 कर दिया और जिसे 2016 से लागू करने की बात कर रही है तो क्या एनपीऐ कही पिछली तिथि में लागू हो सकता है ऐसे अनेक प्रश्न सरकार की कारगुजारी को लेकर प्रदेश में डॉक्टरों की यूनियन उठा रही है। सरकार मागो पर गौर करे नहीं तो प्रदेश में स्वास्थ्य सेवाओं के ठप्प होने की जिम्मेदारी सरकार की होगी। उधर, डॉक्टरों की पेन डाउन स्ट्राइक अस्पताल के बाहर मरीजों की लगी लम्बी-लम्बी कतारें देखने को मिली।