कौशल अधिग्रहण की चुनौती: गुणवत्तापूर्ण रोजगार सुरक्षित करने में एक बाधा

123 प्रतिभागियों में से केवल 7 ही 27 से 35 हजार तक वेतन वाली नौकरी पाने में सफल रहे

उज्ज्वल हिमाचल। धर्मशाला
5-16 सितंबर को धर्मशाला में न्यूस मेगा IT जॉब फेयर में 123 प्रतिभागी थे, लेकिन उनमें से केवल एक छोटा सा हिस्सा ही नौकरी हासिल कर पाया। 123 उपस्थित लोगों में से 86 लोग पहले राउंड, जो कि परिचय राउंड है, को पार करने में विफल रहे। नौकरी मेले का आयोजन करने वाली कंपनी टेलीपरफॉर्मेंस के अनुसार, इनमें से कई व्यक्तियों के पास आवश्यक डिग्रियां थीं। लेकिन उनके पास आवश्यक संचार कौशल और नवीनतम प्रौद्योगिकी ज्ञान का अभाव था, जिससे उनके साक्षात्कार प्रदर्शन में बाधा उत्पन्न हुई।

यह स्थिति चिंताजनक है क्योंकि हिमाचल सरकार सक्रिय रूप से धर्मशाला में एक IT पार्क विकसित कर रही है, जो इस क्षेत्र में आईटी से संबंधित नौकरियों की बढ़ती मांग का संकेत देता है। डेटा साइंस, मशीन लर्निंग, डीप लर्निंग, बैंकिंग और फाइनेंस, बिजनेस एनालिसिस और फुल स्टैक सॉफ्टवेयर जैसे क्षेत्रों में नौकरियों की मांग बढ़ रही है, लेकिन ऐसा प्रतीत होता है कि नौकरी चाहने वाले इन अवसरों के लिए खुद को पर्याप्त रूप से तैयार नहीं कर रहे हैं।

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123 प्रतिभागियों में से केवल 7 ही 27,000 से 35,000 तक वेतन वाली नौकरी पाने में सफल रहे। रोजगार मेले के संचालक शर्मा दिनेश ने आयोजन के दौरान 150 लोगों को नौकरी देने का लक्ष्य रखा था। यह मेला प्रतिभागियों की एक विस्तृत श्रृंखला के लिए खुला था, जिसमें आईटी पेशेवर, स्नातक, स्नातकोत्तर, स्नातक और बीए, बी.कॉम, बी.एससी, एमबीए, एमसीए, पीजीडीसीए, एमए, एम.कॉम जैसे विभिन्न शैक्षणिक पृष्ठभूमि वाले छात्र शामिल थे।

दिनेश ने उम्मीदवारों को न केवल डिग्री प्राप्त करने बल्कि अंग्रेजी में दक्षता विकसित करने, नवीनतम तकनीकों से अपडेट रहने और उद्योग में सफलता की संभावना बढ़ाने के लिए व्यावहारिक अनुभव प्राप्त करने के महत्व पर जोर दिया। लक्ष्य धर्मशाला और उसके बाहर बढ़ते आईटी क्षेत्र में सफल भविष्य के लिए छात्रों और नौकरी चाहने वालों को आवश्यक कौशल और ज्ञान से लैस करना है।

ब्यूरो रिपोर्ट धर्मशाला

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