बेरोजगार युवा कृषि करने में ले ज्यादे दिल चस्पी कृषि करने में न करे शर्म

धौलपुर के राजेश कुमार जेशु मशरूम बेच कर प्रतिदिन कमा रहे 1500 रुपए

अरुण पठानिया। देहरी

प्रदेश में करोना काल के दौरान युवा वर्ग को रोजगार पाने के लिए धर-धर भड़कना पड़ रहा था। पूर्ण लॉकडाउन के दौरान जब लोगों का घर में समय व्यतीत नहीं हो पा रहा था, तो लोगों ने अपनी रुचि कृषि की तरफ लगा दी और युवाओं में भी काफी क्रेज सब्जी लगाने का हो गया था, लेकिन सीमन्त क्षेत्र के कस्बा धौलपुर राजेश कुमार (जेशु) मशरूम लगा कर अपने कार्यक्रम को बढ़ावा दिया। क्योंकि ज्यातर युवा कृषि करने के लिए थोड़ी शर्म सी महसूस करते हैं, लेकिन वर्तमान समय में जितना लाभ कृषि में उतना लाभ दूर-दराज के क्षेत्र शायद न मुमकिन ही होगा।

राजेश कुमार (जेशु) ने अपना मशरूम का कार्य 70 बेग से शुरू किया था। वर्तमान समय में 372 बैग मशरूम के चले हुए हैं और लॉकडाउन क दौरान 200 बैग और लगाने की तैयारी में लगे हुए थे, जिससे दिसंबर अंत तक मशरूम के 200 और बैग लगा दिए जाएंगे। कुल मिलाकर 572 बैग हो जाएंगे।

वर्तमान समय में प्रतिदिन में 15 किलो मशरूम मेरी निकलती हैं, जो कि लगभग 100 रुपए प्रति किलो के हिसाब से नजदीकी सब्जी मंडी तलबाड़ा के क्षेत्र में बेची जाती हैं, जिससे राजेश कुमार अपने घर का पालन पोषण बड़े आसानी से करता हैं। राजेश कुमार (जेशु) ने युवाओं से आह्नान किया है। कृषि करने के लिए युवाओं को शर्म नहीं करनी चाहिए। अगर किसी भी युवा साथी को मशरूम का कार्य करना पसंद हैं, तो में उनको प्रेरित करने में उनकी सहायता कर सकता हैं, ताकि युवा बेरोजगार न रहे।