जर्जर हो चुके स्कूल भवन में चल रहीं कक्षाएं, कभी भी हो सकता है जमींदोज

अमरप्रीत सिंह पुंज। सोलन

जिला प्रशासन व शिक्षा विभाग की कथित लापरवाही व लचर कार्यप्रणाली के चलते राजकीय प्राथमिक पाठशाला सलोगड़ा में अध्ययनरत करीब 100 छात्रों की सुरक्षा खतरे में पड़ गई है। स्कूल भवन के पिल्लर व दीवारों में गहरी होती दरारों से यह भवन कभी भी जमींदोज हो सकता है। ऐसा लग रहा है कि प्रशासन व शिक्षा विभाग हादसे का इंतजार कर रहे हैं।

यही वजह है कि इस स्कूल का शिफ्ट करने के लिए कोई योजना नहीं बनी है। स्कूल प्रशासन वर्ष 2017 से प्रशासन व लोक निर्माण विभाग को इस भवन को असुरक्षित घोषित करने के लिए पत्र लिख रहा है लेकिन कार्रवाई के नाम पर अभी तक कुछ नहीं हुआ है। स्कूल की ओर से पांच सालों में प्रशासन को लिखे गए पत्रों की फाइल भी मोटी हो गई है लेकिन इस पर चढ़ी धूल छंटने का नाम नहीं ले रही है।

फोरलेन की जद में आने के बाद से इस भवन पर संकट के बादल मंडराने शुरू हो गए थे। इस दो मंजिला भवन की ऊपरी मंजिल का फोरलेन में अधिग्रहण हो गया था। अब ऊपरी मंजिल में एक कमरा बचा है तो उसके जाने के लिए रास्ता नहीं है। निचली मंजिल में एक कमरा बचा है तो वह स्टाफ रूम है। बरामदें में भी क्लास लगाई जा रही है। एक-दो क्लास बाहर लगाई जा रही है। बरामदें व कमरे के पिल्लरों व दीवारों में पड़ी दरारें लगातार गहरी होती जा रही है। इसे देख कर ऐसा लग रहा है कि यह भवन कभी भी गिर सकता है। इस भवन की दीवार के साथ फोरलेन के डंगे के कारण ज्यादा नुक्सान हो रहा है।

हालांकि राजकीय वरिष्ठ माध्यमिक पाठशाला ने प्राथमिक पाठशाला को दो कमरे दिए हुए हैं लेकिन यह व्यवस्था भी काफी नहीं है। बारिश के दिनों में तो पानी कमरे के अंदर ही घुस रहा है। फोरलेन की पुली का मुहं भी इस भवन की ओर है इस वजह से नेशनल हाईवे का पूरा पानी स्कूल परिसर में पहुंच रहा है।