उज्जवल हिमाचल। नूरपुर
हिमाचल प्रदेश में बहुचर्चित पठानकोट-मंडी (Pathankot-Mandi) फोरलेन निर्माण के कार्याे को लेकर नूरपुर व ज्वाली विधानसभा क्षेत्रों में जहां पर फोरलेन निर्माण का काम चल रहा है। मानसून की पहली बारिश ने हिमाचल प्रदेश में बहने वाली चक्की दरिया में पानी के सैलाब को देखते हुए निर्माणाधीन चक्की पुल पर अनेकों प्रकार के सवाल दागने आरम्भ कर दिए हैं।
यह मुद्दा भाजपा सरकार में भी संवेदनशील था और आज भी कांगेस सरकार में संवेदनशील है। मुख्यमंत्री सुखविंदर सिंह सुक्खू (CM Sukhvinder Singh Shukhu) ने इस पुल का निरीक्षण उस समय किया था। जब राहुल गांधी की भारत जोडो़ यात्रा हिमाचल प्रदेश में आई थी लेकिन राहुल गांधी की यात्रा के बाद मुख्यमंत्री शायद जिला कांगड़ा व चम्बा के लोगों की इस चिरकाल से चली आ रही समस्या का अभी तक व्यवस्था परिवर्तन नहीं कर सके।
शायद ऐसा लगता है कि कांग्रेस सरकार भी इस मामले में भाजपा की राह पर चल रही है। सरकार का करोड़ों रुपये का पैसा पानी की तरह बह रहा हैं लेकिन चक्की पुल दो सालों से अधर में लटक गया है। जनता परेशान हैं। यह पुल राजनीति की आड़ में आज भी बन्द है।
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पिछले दिनों यहां के ग्रामीणों ने जेपी नड्डा के हिमाचल प्रदेश में आने पर एक धरना प्रदर्शन किया था। इस समय पुल के दो पिल्लर खतरे का सामना कर रहे हैं। भारत सरकार का आज तक करोड़ों रुपये इस पुल के निर्माण हेतु पानी में बह गये। जिन-जिन जगहों से यह फोरलेन निर्माण कार्य किया जा रहा है, वहां पानी की निकासी न होने के कारण लोगों के घरों में पानी जाने से उनकी नीदें हराम हो गई है।
फिलहाल चक्की दरिया में जलस्तर बढने से कम्पनी ने काम रोक दिया है। अगर निर्मित हुआ काम बारिश की भेंट चढ गया तो सरकार का करोड़ों रुपया पानी में फिर से बह जायेगा। लोकसभा का चुनाव नजदीक है इस इलाके के लोगों ने भारत के परिवहन मंत्री नितिन गडकरी से निवेदन किया है कि एक केन्द्रीय टीम इस फोरलेन पर हुए कार्याे में अनियमितताओं की जांच हेतु भेजे।