एचपी शिवा परियोजना से गांव कैहडरू में आई मौसमी और अनार की बहार

Seasonal and pomegranate spring came in village Kaihdru from HP Shiva project
एचपी शिवा परियोजना से गांव कैहडरू में आई मौसमी और अनार की बहार

उज्जवल हिमाचल। हमीरपुर
हिमाचल प्रदेश के कम ऊंचाई वाले क्षेत्रों में बागवानी एवं फल उत्पादन को बढ़ावा देकर किसानों-बागवानों की आय बढ़ाने के लिए आरंभ की गई एचपी शिवा परियोजना से जिला हमीरपुर में भी एक नई क्रांति का सूत्रपात हो रहा है और आजकल इसकी एक शानदार झलक गांव कैहडरू में नजर आ रही है।

हमीरपुर शहर के निकटवर्ती गांव कैहडरू में आजकल मौसमी के लहलहाते पौधे साफ बयां कर रहे हैं कि जिला हमीरपुर जैसे कम ऊंचाई वाले क्षेत्र में भी फल उत्पादन की अपार संभावनाएं हैं और एचपी शिवा परियोजना इन संभावनाओं को हकीकत में बदलने में बहुत बड़ी भूमिका अदा करने जा रही है। परियोजना के तहत गांव कैहडरू के क्लस्टर में लगभग 25 कनाल भूमि पर लगाए गए मौसमी और अनार के बगीचे में अब फल लगने भी शुरू हो गए हैं।


दरअसल, हाल ही के वर्षों के दौरान मौसम की बेरुखी, कम उत्पादन एवं नाममात्र आय तथा अन्य कारणों से गेहूं, मक्की और धान की पारंपरिक खेती से तौबा कर चुके कैहडरू के किसानों के खेत बंजर हो चुके थे। जिस पुश्तैनी जमीन ने कई पीढिय़ों का पालन-पोषण किया, आज उसी जमीन को अपनी आंखों के सामने बंजर होता देख गांव के बुजुर्गों को रह-रहकर ग्लानि महसूस हो रही थी और उन्हें इसका कोई समाधान भी नजर नहीं आ रहा था।

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इसी बीच, उद्यान विभाग के अधिकारियों ने हिमाचल प्रदेश सरकार की एचपी शिवा परियोजना के तहत गांव कैहडरू में मौसमी और अनार का क्लस्टर विकसित करने का निर्णय लिया तो गांव के मेहनतकश एवं प्रगतिशील किसानों विशेषकर, बुजुर्ग किसानों को उम्मीद की एक नई किरण नजर आई।

इस परियोजना में बागवानों के लिए भूमि विकास, बीज, पौधारोपण, सिंचाई, बाड़बंदी, सामूहिक उत्पादन, विपणन, प्रसंस्करण और अन्य सभी सुविधाओं का प्रावधान किया गया है यानि बीज से लेकर बाजार तक की सभी व्यवस्थाएं इस परियोजना में शामिल की गई हैं। उद्यान विभाग के उपनिदेशक राजेश्वर परमार ने बताया कि विभाग ने हमीरपुर जिला में एचपी शिवा परियोजना के तहत ‘एक क्लस्टर, एक फल’ की रणनीति अपनाई है।

इसी रणनीति के तहत गांव कैहडरू के क्लस्टर में बड़े पैमाने पर मौसंमी के पौधे रोपे गए। इसके साथ ही अनार का बगीचा भी तैयार किया गया है। आज लगभग 25 कनाल भूमि पर मौसंमी और अनार के पौधों को लहलहाते देख गांव कैहडरू के प्रगतिशील बागवान कैप्टन प्रकाश चंद, रमेश चंद और अन्य बागवान न केवल खुशी और सुकून महसूस कर रहे हैं, बल्कि अब तो उनके छोटे-छोटे पौधों ने फल देने भी आरंभ कर दिए हैं तथा उन्हें बगीचे से अच्छी आय हो रही है।

पिछले सीजन में उन्हें अभी छोटे पौधों से ही प्रति बीघा एक से डेढ़ लाख रुपये तक आय हुई। इस प्रकार एचपी शिवा परियोजना ने जिला हमीरपुर जैसे कम ऊंचाई वाले क्षेत्र में भी फल उत्पादन की नई संभावनाओं को एक नया बल प्रदान किया है।

संवाददाताः ब्यूरो हमीरपुर

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