उज्जवल हिमाचल। शिमला
मुख्यमंत्री सुखविन्दर सिंह सुक्खू ने आज शिमला में बताया कि हिमाचल प्रदेश को 100 करोड़ रुपये की केन्द्रीय सहायता प्रदान की गई है। केंद्रीय व्यय विभाग, वित्त मंत्रालय से पूंजी निवेश के लिए राज्यों को विशेष सहायता योजना 2022-23 के पीएम गतिशक्ति संबंधित व्यय के तहत 42 करोड़ रुपये दिए। उन्होंने कहा कि यह सहायता राज्य में औद्योगिक गतिविधियों को बढ़ावा देने में काफी मददगार साबित होगी।
मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सरकार ने रुपये की चार परियोजनाएं भेजी हैं। राज्य में लॉजिस्टिक्स कनेक्टिविटी और औद्योगिक विकास को ध्यान में रखते हुए केन्द्रीय सहायता के लिए 84 करोड़ रुपये दिए। उद्योग और आंतरिक व्यापार संवर्धन विभाग की स्क्रीनिंग कमेटी ने 42 करोड रुपये की तीन परियोजनाओं को मंजूरी दी है।
उन्होंने कहा कि इस योजना के तहत प्रमुख परियोजनाओं में से एक जिला कांगड़ा की पालमपुर तहसील में राख (नगरी) में एक आईटी पार्क स्थापित करना है। उन्होंने कहा कि हवाई अड्डे की कनेक्टिविटी और जलवायु क्षेत्र में आईटी सक्षम उद्योगों के लिए अत्यधिक उपयुक्त है। 35 करोड़ परियोजना की कुल लागत रुपये होगी।
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सुखविन्दर सिंह सुक्खू ने उद्योग विभाग को पार्क का आकार 250 कनाल से बढ़ाकर कम से कम 1000 कनाल करने के निर्देश दिए हैं ताकि स्थानीय नौजवानों के लिए रोजगार सृजित करने के लिए अर्थव्यवस्था को भुनाया जा सके। उन्होंने इन परियोजनाओं को समय पर पूरा करने को भी कहा। उन्होंने हिमाचल प्रदेश को देशभर में सबसे अधिक निवेशक अनुकूल राज्य बनाने के लिए निवेश उन्मुख खुली नीतियां बनाने के भी निर्देश दिए।
सुखविंदर सिंह सुक्खू ने निदेशक उद्योग राकेश प्रजापति को चिन्हित स्थलों का दौरा करने और आईटी पार्क स्थापित करने की प्रक्रिया शुरू करने के लिए कहा। उन्होंने कहा कि इससे आईटी और आईटीईएस के क्षेत्र में हिमाचल प्रदेश के लोगों के लिए रोजगार के अवसर सृजित होंगे।
निदेशक उद्योग ने बताया कि आईटी पार्क का विकास नए जमाने के आईटी स्टार्ट-अप को गति प्रदान करते हुए लघु और मध्यम उद्योगों के विकास में उत्प्रेरक की भूमिका निभाएगा। यह राज्य में उद्यमी युवाओं के लिए देश की तकनीकी प्रगति को चलाने वाले आईटी बैंडवागन में शामिल होने और राज्य के सामाजिक-आर्थिक उत्थान के अवसर प्रदान करने के लिए एक मंच भी तैयार करेगा।
उन्होंने आगे बताया कि अन्य दो स्वीकृत परियोजनाएं भूंड और बद्दी में एक नए औद्योगिक क्षेत्र का विकास हैं। उन्होंने कहा कि हमीरपुर एवं बिलासपुर जिले में खाद्य आपूर्ति के भंडारण के लिए दो नए गोदामों के विकास के साथ ही राज्य भर में फैले कई गोदामों का रख-रखाव भी किया जा रहा है।