शिमला : हिमाचल प्रदेश पुलिस की साइबर क्राइम ब्रांच ने लोन एप से संबधित एडवाइजरी जारी की है। एडवाइजरी में साइबर क्राइम ने बताया है कि सोशल प्लेटफार्म पर कई ऐसे एप हैं, जो सस्ता लोन देने का लालच देकर लोगों को ठगी का शिकार बना रहे हैं। ये एप बिना किसी ज्यादा औपचारिकताओं के कम ब्याज पर लोन देने का लोगों को झांसा दे रहे हैं। वहीं साइबर चोर ऐसे ही लोगों की तलाश में रहते हैं, जिन्हें लोन की बहुत ज्यादा जरूरत होती है। एप डाउनलोड होने के बाद ये रजिस्ट्रेशन मांगते हैं और रजिस्ट्रेशन के दौरान ये एप मोबाइल फोन के डाटा में प्रवेश की परमिशन मांगते हैं। इसी दौरान ये लोगों को अपना शिकार बना लेते हैं।
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परमिशन देने के बाद एप प्रक्रिया को आगे बढ़ने देते हैं। शुरू में यह थोड़ा-थोड़ा पैसा देकर मोबाइल फोन उपयोगकर्ता को झांसे में लेते हैं और फिर भारी ब्याज लोन लेने वाले व्यक्ति पर डाल देते हैं। इस दौरान ये मोबाइल फोन से बैंक डीटेल व कांटेक्ट लिस्ट तक पहुंच जाते हैं और उसको चोरी कर लेते हैं। एक बार लोन देने के बाद इनके रिकवरी एजेंट काल के जरिए लोन लेने वाले लोगों को परेशान करना शुरू कर देते हैं। मोबाइल धारक को उसकी अश्लील तस्वीर बदले हुए रूप में भेजते हैं और उसके मोबाइल कांटेक्ट लिस्ट को भेजने की धमकी देते हैं। इस सब से परेशान हो कर लोन लेने वाला व्यक्ति तनाव व धोखाधड़ी का आसानी से शिकार हो जाता है।
किसी भी स्पैम लिंक पर न करें क्लिक
अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक साइबर क्राइम भूपिंदर सिंह नेगी ने बताया कि लोन लेने के लिए किसी भी मैसेज या स्पैम लिंक पर क्लिक न करें। लोन संबंधित अनजान काल पर पहले नजदीकी बैंक पर जाएं। केवल बैंक से ही लोन का आवेदन करें। अच्छे और मजबूत पासवर्ड का उपयोग करें। किसी भी तरह का लोन लेने के लिए स्पैम लिंक पर क्लिक न करें। किसी से भी ओटीपी शेयर न करें। किसी भी तरह का संशय या शक होने पर क्राइम ब्रांच से संपर्क करे।
यहां करें शिकायत
किसी भी प्रकार की साइबर धोखाधड़ी की शिकायतों के लिए टोल फ्री नंबर 1930 पर सुबह नौ से सायं छह बजे तक शिकायत कर सकते हैं।